ब्रह्मांड में किसी चीज़ का वजन सबसे ज्यादा कहा होता है?

तो दोस्तों आज हम बात करेंगे की ब्लैक होल क्या है? इसकी खोज किसने की? Black hole के बारे में फैक्ट black hole कैसे बनता है, ब्लैक होल के आसपास prakash की इतनी पट्टी क्यों होती है, ब्लैक होल को ब्लैक होल क्यों कहते हैं ब्लैक होल के बारे में jokes.

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ब्लैक होल क्या है ?

ब्लैक होल आइंस्टाइन द्वारा परिभाषित की गई एक ऐसी खगोलीय चीज है जो बहुत अधिक मात्रा में गुरुत्वाकर्षण बल रखी है अगर कोई चीज वस्तु जैसे तारा इसके गुरुत्वाकर्षण बल सीमा में आ जाता है।तो वह वापस लौट कर नहीं आ सकता इसका खींचा बोल इतना अधिक होता है कि यह अपने ग्रुप वापस निंबल सीमा में आए किसी तारे और उसके prakash या किसी चीज को वापस जाने का मौका नहीं देता इसलिए कहा जाता है कि जो चीज ब्लैक होल में एक बार चली जाती है वह लौट कर कभी नहीं आ सकती।

ब्लैक होल के बारे में फैक्ट

दोस्तों जैसा कि हम जानते हैं कि किसी चीज का weight अलग-अलग प्लेनेट पर अलग-अलग होता है जैसे कि पृथ्वी पर जो चीज ए टी 1kg की है वह चंद्र पर सिर्फ एक केजी की होती है और दोस्तों यह प्रकृति की बड़ी साइज की वजह से है जिससे पृथ्वी का गुरुत्वाकर्षण बल अधिक है यानी हम कह सकते हैं कि वेट निर्भर करता है गुरुत्वाकर्षण बल पर जितना अधिक मुख्य आकर्षण बल होगा इतना अधिक वजन होगा। 

    अब दोस्तों क्या आपको पता है की ब्रह्माण्ड में सबसे ज्यादा वजन किस जगह पर होता है? शायद आप बताओ जुपिटर। यानी गुरु यानी बृहस्पति क्योंकि साइज में सबसे बड़ा प्लेनेट है। तो दोस्तों आपका अनुमान गलत है।

    वैज्ञानिकों ने अंतरिक्ष में ब्लैक होल का पता लगाया है इसका गुरुत्वाकर्षण बल इतना अधिक होता है कि यह ब्रह्मांड में स्थित किसी भी चीज को अपने अंदर निकल सकता है इतना ही नहीं यह किसी गुजरते हुए तारे और उसके Prakash को भी निकल सकता है अगर एक केजी वजन की एक किसी ब्लैक होल से 6 किलोमीटर की दूरी पर रखी जाए तो उसका वजन करोड़ों में हो जाता है यानी

 "1 किलोग्राम की एक Book लाखों हाथीयों के वजन के बराबर हो जाती है।"

ब्लैक होल कैसे बनता है?

आज के वैज्ञानिक ब्लैक होल की स्टडी करने के पीछे बहुत ही मेहनत करते हैं और उसके राज खोलने का प्रयास करते हैं। वैसे तो ब्लैक होल कैसे बनता है इसकी पुरी प्रक्रिया सिर्फ बड़े-बड़े वैज्ञानिकों को पता होती है। वैज्ञानिकों के मुताबिक जब तारे खत्म हो जाते हैं यानी जब तारे मृत्यु को प्राप्त करते हैं तब वहां उसके ग्रेविटेशनल फोर्स के अलावा कुछ नहीं बचता और यही ब्लैक होल कहलाता है।


ब्लैक होल के आसपास प्रकाश की इतनी पट्टी क्यों होता है?

दोस्तों जैसा कि हम सबको पता है कि ब्लैक होल के पास इतनी गुरुत्वाकर्षण बल होती है कि यह प्रकाश को भी अपनी तरफ खींच लेता है और अपने अंदर समा लेता है।तो दोस्तों इसी की वजह से जब prakash ब्लैक होल की तरफ आकर्षित होता है जब ब्लैक होल प्रकाश को अपनी तरफ खींचता है तब prakash उसकी तरफ मुड़ता हुआ दिखाई पड़ता है और प्रकाश की मात्रा बहुत अधिक होने के कारण वह पट्टीयों के रूप में दिखाई पड़ता है।

ब्लैक होल को ब्लैक होल क्यों कहते हैं?

दोस्तों ब्लैक होल के पास इतना ग्रेविटेशनल फोर्स होने के कारण वह prakash को भी अपने ग्रेविटेशनल फोर्स से खींच कर अपने अंदर समा लेता है। और शायद ही कुछ प्रकाश होती है जो ब्लैक होल से बाहर निकल सकती हैं। पर परावर्तन के नियमों के अनुसार किसी भी चीज को देखने के लिए उसके ऊपर पड़े प्रकाश का परावर्तन होना जरूरी है। जब वह परावर्तित prakash हमारी आंखों में आता है तभी वह चीज हमें दिखाई पड़ती है। जबकि ब्लैक होल prakash को अपने अंदर समा लेता है और इसी कारण प्रकाश परावर्तित नहीं हो पाती। जिसके कारण हमें ब्लैक होल सिर्फ काला धब्बा दिखाई पड़ता है। इसी कारण ब्लैक होल को ब्लैक होल कहां जाता है।

ब्लैक होल के बारे में जोक्स

टीटू : सोनू क्या तुम्हें पता है? कोई बुक ब्लैक होल के 6 किलोमीटर की दूरी पर करोड़ों टन में हो जाती है!

सोनू : टीटू अगर एक बुक का वजन इतना बढ़ जाता है तो अगर भूल से भी तारक मेहता का उल्टा चश्मा के हाथी भाई यहां पर चले जाए तो क्या होगा? 🤣🤣

तो दोस्तों आशा करता हूं कि आपको यह ब्लॉग पसंद आया होगा। अगर आपको black hole के बारे में यह जानकारी पसंद आई तो अपने दोस्तों के साथ शेयर जरूर करें। जाने से पहले यह कन्फर्म जरूर कर ले कि आपने निम्नलिखित points को पढ़ा है या नहीं।

ब्लैक होल क्या है? इसकी खोज किसने की? Black hole के बारे में फैक्ट black hole कैसे बनता है, ब्लैक होल के आसपास prakash की इतनी पट्टी क्यों होती है, ब्लैक होल को ब्लैक होल क्यों कहते हैं ब्लैक होल के बारे में jokes.

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